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*वाह री जिन्दगी*
*जीवन की आधी उम्र तक पैसा कमाया,*
*पैसा कमाने मे इस शरीर को खराब किया।*
*बाकी आधी उम्र तक उसी पैसे को,*
*शरीर ठीक करने मे लगाया।*
*न शरीर बचा, न पैसा ।*
*वाह री जिन्दगी*
*श्मशान के बाहर लिखा था!*
*मंजिल तो तेरी यही थी!*
*बस ज़िन्दगी गुजर गई आते आते*
*क्या मिला तुझे इस दुनिया से*
*अपनों ने ही जला दिया तुंझे जाते जाते*...
*_़़़़़वाह री जिंदगी़़़़़़_*
*दौलत की भूख एेसी लगी कि कमाने निकल गए!*
*जब दौलत मिली तो हाथ से रिश्ते निकल गए!*
*बच्चों के साथ रहने की फुरसत ना मिल सकी!*
*फुरसत मिली तो बच्चे कमाने निकल गए!*
*_़़़़़वाह री जिंदगी़़़़़़_*
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